मंगलवार, 11 फ़रवरी 2020

गोधूलि

सारे संसार के सामने ही होता है
रोज़ प्रणय आकाश से धरती का

रोज़ ही होता है खेल रंगीन
गुलाबी मिलन की होली का

क्षितिज पर सजती है
हर शाम ही सेज
रोज़ जनम होता है
 गोधूलि का।



@सौम्या वफ़ा।©®

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